वह फ़िजा जो इस जज्बे की ख्वाबगाह बनी थी ख्वाब टूटते भी देखा है बारहा ! वह फ़िजा जो इस जज्बे की ख्वाबगाह बनी थी ख्वाब टूटते भी देखा है बारहा !
अब भी मेरी तन्हा जिन्दगी में शायद यही उम्मीद है या शायद यही है मेरा विश्वास। अब भी मेरी तन्हा जिन्दगी में शायद यही उम्मीद है या शायद यही है मेरा वि...
और उनके लिखे ढाई अक्षर ने उस दिन मैंने पूरी कर ली थी अपनी जीवन यात्रा। और उनके लिखे ढाई अक्षर ने उस दिन मैंने पूरी कर ली थी अपनी जीवन यात्रा।
दुनिया को प्रकाश पहुँचा कर बड़ा उपकार किया था जिसने। दुनिया को प्रकाश पहुँचा कर बड़ा उपकार किया था जिसने।
पूछा जब कि आपने तो ब्रह्मांड को पा लिया कहने लगे कि तुम बिन संसार किस काम का। पूछा जब कि आपने तो ब्रह्मांड को पा लिया कहने लगे कि तुम बिन संसार किस काम का।
ये पहनाए उसको ताज अपना है ये सुन्दर समाज। ये पहनाए उसको ताज अपना है ये सुन्दर समाज।